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उत्तराखंड में दो फर्जी  टीचरों को किया गया  सस्पेंड, जानिए पूरा मामला

रुद्रपुर : शिक्षा विभाग की ओर से लगातार शिक्षकों के दस्तावेजों का सत्यापन किया जा रहा है। जांच में अब तक कई शिक्षकों के फर्जी दस्तावेज के मामले सामने आए हैं। फर्जी दस्तावेज पर नौकरी पाने वाले दो शिक्षक निलंबित कर दिए गए हैं। एक सहायक अध्यापक पर फर्जी बीएससी की मार्कशीट व दूसरे पर फर्जी स्थायी निवास प्रमाणपत्र लगाने का आरोप है। जांच के आधार पर जिला शिक्षा अधिकारी बेसिक ने दोनों को निलंबित कर दिया है। वर्तमान में दोनों बाजपुर व सितारगंज में तैनात थे।

 फर्जी दस्तावेजों पर नौकरी पाने वाले दोनों निलंबित शिक्षकों के खिलाफ केस भी दर्ज कराया जा सकता है। दोनों करीब 10 साल से नौकरी कर रहे थे। ऊधमसिंह नगर जिले के सितारगंज ब्लाक के राजकीय प्राथमिक विद्यालय गोठा में सहायक अध्यापक के पद पर तैनात नत्थू लाल के शैक्षिक प्रमाणपत्रों सहित निवास प्रमाणपत्र की जांच की गई।क्षजांच में पता चला कि नत्थू लाल की तरफ से नौकरी ज्वाइन करते समय जो स्थायी निवास प्रमाणपत्र लगाया गया है, वह पूर्व में एसडीएम निरस्त कर चुके थे।

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 अब जांच में फर्जी स्थायी प्रमाण पत्र पाए जाने पर नत्थू लाल को निलंबित कर बीईओ कार्यालय से संबद्ध कर दिया गया है। दूसरे मामले में ऊधमसिंह नगर जिले के ही बाजपुर ब्लॉक में राजकीय प्राथमिक विद्यालय जोगीपुरा में तैनात सहायक अध्यापक मनोज कुमार की शैक्षिक प्रमाणपत्रों की जांच की गई तो बीएससी के प्रमाण पत्र व मार्कशीट फर्जी पाई गई। इस आधार पर शिक्षक को निलंबित कर बीईओ कार्यालय से संबद्ध कर दिया गया है।

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