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उत्तराखंड के ऋषिकेश जिले में ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल परियोजना का काम तेजी से चल रहा है। इस परियोजना के तहत सुरंग की खुदाई के कारण बिलोगी गांव के कई मकानों में दरारें आ गई हैं, जिससे ग्रामीण दहशत में हैं और उन्होंने विस्थापन की मांग की है।

ग्रामीणों का कहना है कि सुरंग निर्माण के दौरान भारी ब्लास्टिंग के कारण उनके मकान और जमीन हिल रहे हैं, जिससे मकानों में दरारें पड़ रही हैं।ग्रामीणों ने प्रशासन और रेलवे विकास निगम (आरवीएनएल) को इस समस्या के बारे में पत्र भेजा था, लेकिन किसी अधिकारी ने निरीक्षण नहीं किया। सोमवार को बिलोगी गांव में इस समस्या के समाधान के लिए बैठक आयोजित की गई, जिसमें ग्रामीणों ने नाराजगी जाहिर की कि उनकी समस्या को गंभीरता से नहीं लिया गया।

ग्रामीणों का कहना है कि सुरंग निर्माण के दौरान हो रही ब्लास्टिंग से गांव के पानी के प्राकृतिक स्रोत भी सूख रहे हैं। वे परियोजना का विरोध नहीं कर रहे हैं, लेकिन उनकी समस्याओं का समाधान चाहते हैं।

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उन्होंने मकानों पर पड़ी दरारों का सर्वे और जांच कर उचित मुआवजा देने और उन्हें अन्यत्र पुनर्वासित करने की मांग की है।बैठक में सुनीता देवी, चमन लाल भट्ट, सुलोचना रयाल, वासुदेव, रामस्वरूप, विश्वभर प्रसाद, शूरवीर सिंह महर, कमल किशोर भट्ट, जगदीश प्रसाद, और सत्ये सिंह महर आदि उपस्थित थे।

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