उत्तराखंड के ऋषिकेश में एक नाबालिग किशोरी के साथ दुष्कर्म के मामले में पुलिस ने दो नाबालिग लड़कों को गिरफ्तार कर लिया है। दोनों पर पॉक्सो (प्रोटेक्शन ऑफ चिल्ड्रेन फ्रॉम सेक्सुअल ऑफेंस) एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया है। पुलिस के मुताबिक, दोनों लड़कों ने अलग-अलग समय पर किशोरी के साथ दुष्कर्म किया। इस गंभीर अपराध के बाद आरोपितों को देहरादून के बाल सुधार गृह भेज दिया गया है, जहां उन्हें काउंसलिंग दी जाएगी और उनकी मानसिक स्थिति को भी समझने का प्रयास किया जाएगा।
शिकायत के आधार पर त्वरित कार्रवाई
किशोरी के पिता द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत के बाद यह मामला सामने आया। पिता ने पुलिस को बताया कि उनकी नाबालिग बेटी के साथ दो अलग-अलग लड़कों ने समय-समय पर दुष्कर्म किया। इस आरोप के आधार पर ऋषिकेश कोतवाली पुलिस ने तुरंत कार्रवाई की और दोनों नाबालिगों को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने पॉक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है।
इंटरनेट मीडिया के माध्यम से हुआ संपर्क
कोतवाली प्रभारी निरीक्षक राजेंद्र सिंह खोलिया ने मामले की जानकारी देते हुए बताया कि जांच के दौरान यह सामने आया है कि पीड़िता और दोनों आरोपित पहले इंटरनेट मीडिया के जरिए संपर्क में आए थे। इसके बाद वे फोन पर भी एक-दूसरे से बात करने लगे। पुलिस ने यह भी स्पष्ट किया है कि इस डिजिटल संपर्क के माध्यम से ही यह अपराध अंजाम दिया गया। फिलहाल मामले की जांच महिला उप निरीक्षक सोनल द्वारा की जा रही है।
बाल सुधार गृह में काउंसलिंग और सुधार की कोशिश
दोनों आरोपित नाबालिग होने के कारण उन्हें न्यायिक प्रक्रिया के तहत देहरादून के बाल सुधार गृह भेज दिया गया है। वहां उन्हें जिला बाल कल्याण समिति की देखरेख में रखा गया है। सुधार गृह में उनकी काउंसलिंग की जाएगी, ताकि उनके मानसिक और भावनात्मक विकास पर ध्यान दिया जा सके। पुलिस इस दौरान किशोरी का मेडिकल परीक्षण भी करवा चुकी है और अब मेडिकल रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है, जो इस मामले में महत्वपूर्ण सबूत प्रदान करेगी।
मेडिकल रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्रवाई
महिला उप निरीक्षक सोनल ने बताया कि मेडिकल रिपोर्ट मिलने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल पुलिस इस मामले को बेहद गंभीरता से ले रही है और जांच के हर पहलू पर काम कर रही है। यह घटना समाज में इंटरनेट मीडिया के उपयोग से जुड़े खतरों को भी उजागर करती है, खासकर नाबालिगों के बीच बढ़ती डिजिटल संपर्क की प्रवृत्ति के मद्देनजर। पुलिस ने सभी अभिभावकों से अपील की है कि वे अपने बच्चों पर नजर रखें और उन्हें ऑनलाइन गतिविधियों के प्रति जागरूक करें, ताकि ऐसे घटनाओं से बचा जा सके।
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