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हल्द्वानी कोतवाली में पूर्व भारतीय क्रिकेटर मनोज प्रभाकर और उनके बेटे रोहन प्रभाकर के खिलाफ 11.44 लाख रुपये की धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज किया गया है। यह मामला लखनऊ (उत्तर प्रदेश) स्थित पुरानी सब्जी मंडी निवासी नीरज कुमार शुक्ल की शिकायत पर दर्ज हुआ है।

नीरज ने बताया कि उनकी फर्म एनएस सेल्स के साथ मनोज प्रभाकर की कंपनी नेचुरेंस रिसर्च लैब प्राइवेट लिमिटेड ने 1 जुलाई 2017 को सुपर डिस्ट्रीब्यूटर एग्रीमेंट किया था, जिसके तहत उन्हें पूर्वी और मध्य उत्तर प्रदेश के क्षेत्रों में कंपनी का व्यवसाय संभालने के लिए अधिकृत किया गया था।नीरज के अनुसार, उन्होंने कंपनी द्वारा भेजे गए सभी माल का भुगतान किया था, लेकिन दिसंबर 2023 में कंपनी ने अपने सभी सेल्स स्टाफ को निकाल दिया और नई टीम लाने की बात कही।

इसके बाद, फरवरी में उन्हें जानकारी मिली कि रुद्रपुर स्थित नेचुरेंस हर्बल की फैक्टरी बिक चुकी है। इस पर नीरज ने कंपनी से संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन उन्हें कोई जवाब नहीं मिला। तहरीर में नीरज ने यह भी बताया कि उनके पास नेचुरेंस हर्बल और नेचुरेंस रिसर्च लैब के स्टॉक का मूल्य 11.44 लाख रुपये था, जिसमें रिप्लेसमेंट स्टॉक और बाजार में डिस्ट्रीब्यूटरों की उधारी भी शामिल है।

उन्होंने इस राशि की भरपाई की मांग की है। पुलिस ने पूर्व क्रिकेटर और उनके बेटे के खिलाफ आईपीसी की धारा 420 के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। जांच के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।

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