एनएचएआई के अनुसार दिल्ली-दून एक्सप्रेसवे का निर्माण 213 किलोमीटर में कुल 11 पैकेज में चल रहा है। इसे एनएचएआई के विभिन्न परियोजना कार्यालय देख रहे हैं। परियोजना को नवंबर 2024 तक पूरा किया जाना है। एलिवेटेड रोड पर गति नियंत्रण के लिए एडवांस्ड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम (एटीएमएस) लगाया जाएगा।दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे के अंतिम छोर पर 12 किलोमीटर लंबी एलिवेटेड रोड लगभग पूरी हो चुकी है। यह रोड घने जंगल के बीच स्काई राइड की तरह दिखती है और परियोजना का प्रमुख आकर्षण है। जुलाई 2024 तक इसे वाहनों के लिए खोलने का अनुमान है, जिससे दिल्ली से देहरादून की दूरी महज ढाई घंटे में पूरी की जा सकेगी। वर्तमान में यह दूरी 236 किलोमीटर है, जो एक्सप्रेसवे के पूरा होने पर 213 किलोमीटर रह जाएगी और यात्रा का समय छह घंटे से घटकर साढ़े तीन घंटे हो जाएगा।परियोजना का सबसे बड़ा आकर्षण सहारनपुर के गणेशपुर क्षेत्र से देहरादून की सीमा तक 12 किलोमीटर लंबी एलिवेटेड रोड है, जिसका निर्माण अंतिम चरण में है। रोड की प्रगति 90 प्रतिशत से अधिक हो चुकी है और शेष एक किलोमीटर पर डामरीकरण का कार्य शुरू हो गया है।
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एलिवेटेड रोड पर गति को नियंत्रित रखने के लिए एटीएमएस के तहत कैमरे लगाए जाएंगे जो स्पीड मापेंगे और तय मानक से अधिक रफ्तार पर ऑनलाइन चालान काटेंगे। दुर्घटना की स्थिति में वीडियो इंसीडेंट डिटेक्शन सिस्टम (वीआईडीएस) कंट्रोल रूम को सूचना भेजेगा जिससे समय पर राहत और बचाव कार्य किए जा सकें। 213 किलोमीटर लंबी इस परियोजना की कुल लागत 11,970 करोड़ रुपये है और इसे 11 पैकेज में बांटा गया है:1. अक्षरधाम-दिल्ली-उत्तर प्रदेश सीमा2. अक्षरधाम-दिल्ली-उत्तर प्रदेश सीमा3-6. ईपीई क्रासिंग-सहारनपुर बाईपास7-8. सहारनपुर बाईपास-गणेशपुर एक्सेस कंट्रोल9-11. गणेशपुर-देहरादूनगणेशपुर-दून के बीच की परियोजना:एलिवेटेड रोड की लंबाई – 12 किमीकुल बजट – 1,400 करोड़ रुपयेपिलर – 575डाटकाली सुरंग की लंबाई – 340 मीटरबजट – 1,995 करोड़ रुपयेप्रमुख विशेषताएँ:- 05 रेलवे ओवर ब्रिज- 110 वाहन अंडरपास- 76 किमी सर्विस रोड- 29 किमी एलिवेटेड रोड- 16 एग्जिट और एंट्री पॉइंट