देहरादून में एक हाउसिंग प्रोजेक्ट के नाम पर बड़ी धोखाधड़ी का मामला सामने आया है। दिल्ली निवासी बिल्डर जितेंद्र खरबंदा ने अपने पार्टनर के साथ मिलकर 19 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की।
धोखाधड़ी का तरीका:
- निष्क्रिय कंपनियों का इस्तेमाल: जितेंद्र खरबंदा ने अपने भाई और देहरादून निवासी अजय पुंडीर के साथ मिलकर निष्क्रिय कंपनियों के खातों में धनराशि जमा करवाई।
- झूठी कंपनियों का निर्माण: दिसंबर 2017 में अंजनी इंफ्रा प्रोजेक्ट प्राइवेट लिमिटेड नाम से एक कंपनी बनाई और इसके माध्यम से भूमि खरीदने के लिए अजय पुंडीर के खाते में धनराशि डलवाई।
- फर्जी निदेशक नियुक्त:उत्तराखंड में बाहरी व्यक्ति 250 गज से अधिक जमीन नहीं खरीद सकता, इसलिए अजय पुंडीर को अपनी कंपनी का निदेशक बनाकर भूमि खरीदी गई।
पीड़ित की शिकायत:
दिल्ली निवासी मुकेश कुमार ने अदालत में दी गई प्रार्थनापत्र में बताया कि जितेंद्र खरबंदा ने उन्हें बताया था कि वह देहरादून में हाउसिंग प्रोजेक्ट बनाने जा रहा है। मोटा मुनाफा देखकर मुकेश कुमार ने विभिन्न तिथियों को अजय पुंडीर, बालाजी डेवलपवेल प्राइवेट लिमिटेड, अजय खरबंदा, बालाजी इंफ्रा साइन व अन्य के खातों में 19 करोड़ रुपये ट्रांसफर कर दिए। जब मुकेश कुमार ने प्रोजेक्ट के स्टेटस के बारे में पूछा, तो जितेंद्र खरबंदा ने संतोषजनक उत्तर नहीं दिया।
पुलिस की कार्यवाही:
- मुकदमा दर्ज:अपर मुख्य न्यायिक न्यायाधीश के आदेश पर दिल्ली के विवेक विहार निवासी जितेंद्र खरबंदा, देहरादून निवासी अजय पुंडीर और दिल्ली निवासी अजय खरबंदा के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया।
- गिरफ्तारी: इस मामले में एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि संबंधित सीओ को निर्देश जारी किए गए हैं कि वे आरोपियों के खिलाफ दर्ज अन्य मुकदमों की जांच करें और आगे की कार्रवाई करें।
पहले भी कर चुके हैं धोखाधड़ी:
- दून वैली कोलोनाइजर्स के साथ धोखाधड़ी: मुकेश कुमार ने बताया कि आरोपित पहले भी दून वैली कोलोनाइजर्स एंड बिल्डर्स कंपनी के निर्देशक प्रदीप नागरथ से 12 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी कर चुके हैं। इस मामले में राजपुर थाना पुलिस ने 13 अप्रैल को आरोपितों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था।
- अदालत में मामला: प्रदीप नागरथ ने इस मामले में अदालत का दरवाजा खटखटाया है।
गैंगस्टर की कार्रवाई:
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह ने बताया कि जितेंद्र खरबंदा और अजय पुंडीर के खिलाफ जमीन धोखाधड़ी के कई मामले दर्ज हैं, लेकिन अभी तक एक भी आरोपित के खिलाफ गैंगस्टर की कार्रवाई नहीं की गई है। पुलिस आरोपितों के रिकार्ड की जांच कर रही है और जल्द ही उचित कार्रवाई की जाएगी।