उत्तराखंड में जल्द ही एक बड़े कौशल विकास और रोजगार सम्मेलन का आयोजन किया जाएगा, जिसका उद्देश्य राज्य में स्वरोजगार और रोजगार के नए अवसरों की खोज करना है। यह सम्मेलन अक्तूबर-नवंबर में देहरादून में आयोजित किया जाएगा, जिसमें सरकारी और गैर-सरकारी कौशल विकास एजेंसियों के साथ-साथ देशभर से नामी राष्ट्रीय संस्थान हिस्सा लेंगे। इन संस्थानों के विशेषज्ञ और प्रतिनिधि भविष्य में रोजगार की संभावनाओं और रोडमैप तैयार करने में सरकार की सहायता करेंगे। सचिव नियोजन आर. मीनाक्षी सुंदरम के अनुसार, सम्मेलन की तिथि जल्द ही निर्धारित की जाएगी। इस सम्मेलन के माध्यम से सरकार राज्य के युवाओं को कौशल विकास कार्यक्रमों से जोड़कर उन्हें रोजगार के बेहतर अवसर प्रदान करने पर ध्यान केंद्रित कर रही है, क्योंकि सरकारी नौकरियों की सीमित संख्या के कारण स्वरोजगार की संभावनाओं को बढ़ावा देना आवश्यक हो गया है।
स्वरोजगार और रोजगार के अवसरों का होगा विस्तृत विश्लेषण
सरकार वर्तमान में दो महत्वपूर्ण पहलुओं पर काम कर रही है। पहला, रोजगार प्रदान करने वाले क्षेत्रों की पहचान करना और दूसरा, युवाओं को आवश्यक कौशल प्रदान कर स्वरोजगार के लिए सक्षम बनाना। इसके तहत उद्योग, ऊर्जा, पर्यटन, स्वास्थ्य, शिक्षा, आयुष, उद्यानिकी और कृषि जैसे क्षेत्रों में निवेश को बढ़ावा देकर लाखों रोजगार के अवसर उत्पन्न करने की योजना बनाई गई है। राज्य सरकार ने 3.56 लाख करोड़ रुपये के वैश्विक निवेशक सम्मेलन में हुए समझौतों में से 71 हजार करोड़ रुपये की परियोजनाओं को धरातल पर उतार दिया है, जिससे हजारों रोजगार सृजित होंगे।
राज्य के युवाओं को मिलेगा कौशल प्रशिक्षण
इस सम्मेलन के माध्यम से राज्य सरकार का उद्देश्य यह है कि युवाओं को कौशल विकास का व्यापक प्रशिक्षण प्रदान किया जाए, ताकि वे राज्य के भीतर और बाहर रोजगार प्राप्त कर सकें। साथ ही, सरकार का यह भी प्रयास है कि युवाओं में स्वरोजगार शुरू करने का आत्मविश्वास विकसित किया जाए। कौशल विकास और रोजगार सम्मेलन के दौरान रोजगार के नए अवसरों और संभावनाओं पर मंथन होगा। इसके अलावा, यह भी विचार किया जाएगा कि राज्य के युवाओं को किस प्रकार का कौशल प्रशिक्षण दिया जाए, ताकि वे अधिक से अधिक रोजगार के अवसर प्राप्त कर सकें।
बेरोजगारी की समस्या का समाधान करने की दिशा में प्रयास
सेवायोजन विभाग की रिपोर्ट के अनुसार, राज्य में 8.50 लाख से अधिक पंजीकृत बेरोजगार हैं। राज्य सरकार ने विभिन्न सरकारी नौकरियों के लिए अवसर खोले हैं, लेकिन बेरोजगारों की संख्या को देखते हुए, सरकारी नौकरियां पर्याप्त नहीं हैं। इसी को ध्यान में रखते हुए, राज्य सरकार रोजगार और स्वरोजगार के नए रास्ते तलाशने के लिए इस सम्मेलन का आयोजन करने जा रही है।