हिंदू धर्म में शक्तिपीठों का अत्यंत महत्वपूर्ण स्थान है। नयना देवी शक्तिपीठ उनमें से एक प्रमुख और पूजनीय स्थल है, जो श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र है। यहां की पवित्रता और आध्यात्मिकता का हर भक्त सम्मान करता है। लेकिन हाल ही में इस मंदिर में एक घटना ने सबको विचलित कर दिया, जब हल्द्वानी की एक महिला ने मंदिर प्रांगण में फिल्मी डांस कर वीडियो बनाया और इसे इंटरनेट पर प्रसारित कर दिया।
इस महिला का अश्लील डांस वीडियो जब वायरल हुआ तो श्रद्धालुओं की भावनाएं आहत हुईं। इस प्रकार की गतिविधियां न केवल धार्मिक स्थलों की पवित्रता को भंग करती हैं बल्कि भक्तों की आस्था पर भी चोट पहुंचाती हैं। वीडियो के वायरल होने के बाद मंदिर ट्रस्ट ने तुरंत कार्रवाई करते हुए मंदिर परिसर में वीडियोग्राफी और रील बनाने पर पूर्ण पाबंदी लगा दी।
मामला प्रकाश में आते ही इंटरनेट मीडिया के माध्यम से जानकारी जुटाई गई और महिला की पहचान हल्द्वानी निवासी के रूप में की गई। प्राथमिकी दर्ज होने के बाद महिला ने अपनी गलती स्वीकार की और मंदिर ट्रस्ट के समक्ष पेश होकर लिखित माफीनामा दिया। महिला ने स्पष्ट रूप से कहा कि उसे अपनी गलती का पछतावा है और भविष्य में वह इस प्रकार की कोई हरकत नहीं करेगी। उसके पति और परिवारजनों ने भी उसे उसकी गलती के लिए फटकार लगाई।महिला ने अपने माफीनामे में कहा कि वह मां नयना देवी की भक्त है और भविष्य में इस तरह की गलती ना हो, इसके लिए वह महिलाओं और बेटियों को जागरूक करेगी। महिला की माफी के बाद मंदिर ट्रस्ट ने आपराधिक कार्रवाई फिलहाल स्थगित कर दी।
इस घटना के बाद मंदिर ट्रस्ट ने अपने नियमों को और कड़ा कर दिया है। अब मंदिर परिसर में रील बनाने, वीडियोग्राफी करने और भड़काऊ कपड़े पहनकर आने पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया गया है। ट्रस्ट अध्यक्ष राजीव लोचन साह ने स्पष्ट किया कि मंदिर की पवित्रता और भक्तों की आस्था का सम्मान सर्वोपरि है और इस प्रकार की घटनाओं को किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
माफी मांगने के बाद महिला ने खुद को समाजसेवी बताते हुए कहा कि वह भविष्य में इस तरह की घटनाओं के खिलाफ जागरूकता फैलाएगी। वह चाहती है कि कोई भी महिला या बेटी ऐसी गलती ना करे जिससे धार्मिक भावनाएं आहत हों।