नैनीताल में प्राइवेट गाड़ियों से आने वालों को लगेगा ऑनलाइन टोल टैक्स, टूरिस्टों की जेब पर बढ़ेगा बोझ
गर्मी के मौसम में उत्तर भारत के मैदानी इलाकों से बड़ी संख्या में पर्यटक नैनीताल की ओर रुख करते हैं, लेकिन इस बार उनकी जेब पहले से ज्यादा ढीली हो सकती है। नैनीताल नगर पालिका ने टोल टैक्स और पार्किंग शुल्क की दरों में बड़ा बदलाव करने का फैसला लिया है, जिससे टूरिस्टों को अतिरिक्त भुगतान करना पड़ेगा।
ऑनलाइन टोल टैक्स अनिवार्य, नकद भुगतान पर 500 रुपये शुल्क
नगर पालिका के अनुसार, अब निजी वाहनों से नैनीताल आने वाले पर्यटकों को तल्लीताल लेकब्रिज चुंगी पर ऑनलाइन माध्यम से टोल टैक्स भरना अनिवार्य होगा। यदि कोई पर्यटक ऑनलाइन भुगतान नहीं करता है, तो उसे मौके पर नकद भुगतान के तौर पर 500 रुपये देने होंगे।
टोल टैक्स में भारी बढ़ोतरी: लोकल और बाहरी वाहनों पर अलग दरें
फिलहाल चौपहिया वाहनों पर 130 रुपये का टोल टैक्स लिया जाता है, जिसे अब बढ़ाकर स्थानीय यूके-04 नंबर के वाहनों के लिए 200 रुपये और अन्य राज्यों के वाहनों के लिए 300 रुपये करने का प्रस्ताव रखा गया है। यह प्रस्ताव लागू करने से पहले हाईकोर्ट में पेश किया जाएगा।
स्थानीय चौपहिया वाहनों के लिए सालाना पास की व्यवस्था भी की जा रही है, जिसकी लागत 1500 रुपये प्रति वर्ष तय की गई है।
टैक्सी बाइकों पर भी लगेगा टोल टैक्स
अब तक टैक्सी बाइकों पर टोल टैक्स नहीं लगता था, लेकिन अब प्रति टैक्सी बाइक 100 रुपये का टोल टैक्स वसूला जाएगा। लोकल टैक्सी बाइक चालकों को इसके लिए 1300 रुपये का सालाना पास लेना होगा। हालांकि, निजी दोपहिया वाहनों को अभी इस नियम से छूट दी गई है और उन पर कोई टोल या पार्किंग शुल्क नहीं लगेगा।
पार्किंग शुल्क में भी बदलाव, बाहर से आने वालों को 500 रुपये चुकाने होंगे
टोल टैक्स के साथ-साथ पार्किंग शुल्क में भी बढ़ोतरी की गई है। अब नैनीताल में बाहर से आने वाले सभी निजी चौपहिया वाहनों को 500 रुपये का पार्किंग शुल्क देना होगा।
स्थानीय वाहनों के लिए अशोक पार्किंग में प्रति घंटे 25 रुपये की दर से शुल्क लिया जाएगा। पार्किंग के लिए चेक-आउट का समय दोपहर 12 बजे निर्धारित किया गया है।
सरकारी विभागों के कर्मचारियों को विशेष सुविधा देते हुए सालाना पास की कीमत 5000 रुपये रखी गई है।
अवैध होमस्टे और होटल पर कसेगा शिकंजा, लागू होगा ट्रेड लाइसेंस
पालिका ने निर्णय लिया है कि नगर क्षेत्र के सभी वार्डों में अवैध रूप से चल रहे होटलों और होमस्टे की सूची तैयार की जाएगी। इन पर कार्रवाई करने के लिए पुलिस के साथ मिलकर अभियान चलाया जाएगा।
सभी व्यवसायिक संस्थानों पर ट्रेड लाइसेंस अनिवार्य किया जाएगा और पालिका के अन्य शुल्कों की भी वसूली की जाएगी। संबंधित प्रस्ताव अगली बोर्ड बैठक में रखा जाएगा।
गर्मियों में बढ़ी पर्यटकों की भीड़, सुविधाएं बढ़ाने पर भी हो रहा विचार
गर्मी बढ़ते ही दिल्ली-एनसीआर, उत्तर प्रदेश और अन्य मैदानी इलाकों से लाखों की संख्या में पर्यटक नैनीताल, मसूरी, और हल्द्वानी जैसे हिल स्टेशनों की ओर रुख करते हैं। ऐसे में नगर पालिका ने व्यवस्था बनाए रखने के लिए टोल और पार्किंग से होने वाली आय को उपयोग में लाने की योजना भी बनाई है।
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